सारांश: OYO होटल ने मेरठ से शुरुआत करते हुए अनमैरिड कपल्स के चेक-इन के लिए रिलेशनशिप आईडी अनिवार्य कर दी है। यह कदम कंपनी की छवि बदलने और सुरक्षित हॉस्पिटैलिटी सुनिश्चित करने के उद्देश्य से उठाया गया है। पॉलिसी को सिविल सोसाइटी और स्थानीय कानूनों के अनुरूप बनाया गया है और इसे अन्य शहरों में भी लागू करने की योजना है।


OYO ने अनमैरिड कपल्स के लिए चेक-इन पॉलिसी में बदलाव क्यों किए? नई पॉलिसी का उद्देश्य और इसके प्रभाव


ओयो की नई पॉलिसी का परिचय


भारत में 2013 में शुरू हुई ओयो होटल श्रृंखला ने हॉस्पिटैलिटी क्षेत्र में अपनी एक अलग पहचान बनाई है। छोटे शहरों से लेकर मेट्रो शहरों तक, ओयो रूम्स ने ग्राहकों की प्राथमिकता में जगह बनाई है। हाल ही में कंपनी ने अपनी चेक-इन पॉलिसी में एक अहम बदलाव करते हुए अनमैरिड कपल्स के लिए रिलेशनशिप प्रूफ अनिवार्य कर दिया है। इस पहल की शुरुआत मेरठ से की गई है और इसे धीरे-धीरे अन्य शहरों में भी लागू करने की योजना है।


ओयो नॉर्थ इंडिया के रीजनल हेड पावस शर्मा के अनुसार, कंपनी का लक्ष्य सुरक्षित और जिम्मेदार हॉस्पिटैलिटी अनुभव प्रदान करना है। इस बदलाव का उद्देश्य न केवल ओयो की पुरानी छवि को बदलना है, बल्कि इसे परिवार, छात्रों, व्यवसायियों और धार्मिक यात्रियों के लिए एक भरोसेमंद ब्रांड के रूप में स्थापित करना है।


पॉलिसी बदलाव के पीछे प्रमुख कारण सिविल सोसाइटी ग्रुप और स्थानीय कानून प्रवर्तन एजेंसियों की शिकायतें हैं। इन समूहों ने अनमैरिड कपल्स के चेक-इन को लेकर आपत्ति जताई थी और इस पर कार्रवाई की मांग की थी।


पॉलिसी के प्रमुख बिंदु


रिलेशनशिप प्रूफ अनिवार्य: अब कपल्स को होटल में चेक-इन करने के लिए रिलेशनशिप आईडी दिखानी होगी। यह प्रक्रिया ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों बुकिंग पर लागू होगी।


स्थानीय संवेदनशीलता का ध्यान: ओयो ने अपने पार्टनर होटलों को यह अधिकार दिया है कि वे स्थानीय सामाजिक परिस्थितियों के आधार पर कपल बुकिंग को अस्वीकार कर सकते हैं।


मेरठ में शुरुआत: यह नई पॉलिसी पहले मेरठ में लागू की गई है। कंपनी ग्राउंड फीडबैक के आधार पर इसे अन्य शहरों में भी लागू करने की योजना बना रही है।


ओयो का बयान


ओयो के अधिकारियों ने बताया कि यह पहल कंपनी के व्यापक प्रोग्राम का हिस्सा है, जो ग्राहकों के विश्वास को मजबूत करने और दीर्घकालिक बुकिंग को प्रोत्साहित करने पर केंद्रित है। “हम समय-समय पर इस पॉलिसी और इसके प्रभाव का मूल्यांकन करते रहेंगे। हमारा उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि ओयो का हर ग्राहक सुरक्षित और जिम्मेदार हॉस्पिटैलिटी का अनुभव करे,” पावस शर्मा ने कहा।


कंपनी की छवि बदलने की कोशिश


ओयो ने यह कदम अपनी ब्रांड छवि को सुधारने के लिए उठाया है। पिछले कुछ वर्षों में, ओयो पर कथित अनैतिक गतिविधियों को बढ़ावा देने के आरोप लगे थे। इन चिंताओं का समाधान करने के लिए कंपनी ने कई कड़े कदम उठाए हैं। इनमें शामिल हैं:

  • पुलिस और होटल पार्टनर्स के साथ सेमिनार आयोजित करना।
  • अनैतिक गतिविधियों में लिप्त पाए गए होटलों को ब्लैकलिस्ट करना।
  • ओयो ब्रांडिंग का गलत उपयोग करने वाले होटलों पर कार्रवाई करना।


स्थानीय समाज और कानून का महत्व


ओयो ने स्थानीय समाज और कानून प्रवर्तन एजेंसियों के साथ तालमेल बैठाने के लिए इस पॉलिसी को लागू किया है। मेरठ जैसे शहरों में सिविल सोसाइटी ग्रुप्स की शिकायतें और कुछ स्थानों पर याचिकाएं इस बदलाव का मुख्य कारण बनीं।


ग्राहकों के लिए प्रभाव


इस पॉलिसी के लागू होने के बाद, अनमैरिड कपल्स को होटल में चेक-इन करने के लिए अधिक सतर्क रहना होगा। रिलेशनशिप प्रूफ दिखाने की अनिवार्यता और स्थानीय होटलों के अधिकार बढ़ने से कपल्स की बुकिंग पर असर पड़ सकता है। हालांकि, ओयो का दावा है कि यह कदम सुरक्षित और जिम्मेदार हॉस्पिटैलिटी अनुभव प्रदान करने के लिए आवश्यक है।

Post a Comment

और नया पुराने