फ्रेंचाइजी (Franchise) एक व्यापारिक मॉडल है जिसमें एक कंपनी (जिसे फ्रेंचाइज़र कहते हैं) अपने ब्रांड नाम, उत्पाद, सेवा या व्यापारिक प्रक्रिया को अन्य कंपनियों या व्यक्तियों (जिन्हें फ्रेंचाइज़ीधारी कहते हैं) को एक निर्धारित शुल्क पर प्रदान करती है। इस व्यवस्था में फ्रेंचाइज़ीधारी फ्रेंचाइज़र के नाम और प्रक्रिया का उपयोग करके अपने व्यापार का संचालन करते हैं और एक हिस्से के रूप में बिक्री, मुनाफे, या अन्य प्रकार की कमाई से निर्धारित शुल्क का भुगतान करते हैं।
फ्रेंचाइजी का उद्देश्य उत्पादों या सेवाओं को अधिक बड़े बाजार में पहुंचाना होता है और यह मॉडल नए व्यवसायी या उद्यमियों को पहले से स्थापित ब्रांड और परिचित व्यापार प्रक्रिया के साथ व्यापार शुरू करने का अवसर प्रदान करता है।
फ्रेंचाइजी मॉडल के प्रमुख तत्व
- ब्रांड नाम और पहचान: फ्रेंचाइज़ी मॉडल में फ्रेंचाइज़र का ब्रांड नाम, लोगो और व्यापारिक पहचान महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। फ्रेंचाइज़ीधारी अपने व्यापार में इनका उपयोग कर सकते हैं।
- व्यापारिक प्रणाली और प्रक्रियाएं: फ्रेंचाइज़र अपने व्यापार के लिए एक विशेष प्रणाली या प्रक्रिया का निर्माण करता है, जो फ्रेंचाइज़ीधारी को प्रदान की जाती है। यह उन्हें सही तरीके से व्यापार चलाने में सहायता करती है और ब्रांड की पहचान और सेवा गुणवत्ता को सुनिश्चित करती है।
- शुल्क और रॉयल्टी: फ्रेंचाइज़ीधारी को फ्रेंचाइज़र को एक प्रारंभिक शुल्क देना होता है। इसके अतिरिक्त, उन्हें मासिक या वार्षिक रॉयल्टी शुल्क भी देना होता है, जो अक्सर बिक्री या लाभ पर आधारित होता है।
- प्रशिक्षण और समर्थन: फ्रेंचाइज़र फ्रेंचाइज़ीधारियों को व्यापार से संबंधित प्रशिक्षण, मार्केटिंग सपोर्ट, और कई मामलों में तकनीकी सहायता भी प्रदान करता है।
फ्रेंचाइजी के लाभ
- स्थापित ब्रांड का लाभ: फ्रेंचाइजी मॉडल में व्यापार का संचालन करते हुए फ्रेंचाइज़ीधारी को एक प्रतिष्ठित और स्थापित ब्रांड के साथ काम करने का मौका मिलता है।
- जोखिम में कमी: फ्रेंचाइज़र की बनाई प्रक्रियाओं और प्रशिक्षण के कारण व्यापार में विफलता का जोखिम कम हो जाता है।
- विस्तार का अवसर: फ्रेंचाइज़र के लिए यह नए बाजारों में पहुंचने और अधिक ग्राहकों तक अपनी सेवा पहुंचाने का एक तरीका है।
- स्थिर आय स्रोत: फ्रेंचाइज़र को रॉयल्टी और शुल्क के रूप में नियमित आय प्राप्त होती है।
फ्रेंचाइजी के प्रकार
- उत्पाद वितरण फ्रेंचाइजी: इसमें फ्रेंचाइज़ीधारी को विशेष उत्पाद बेचने का अधिकार दिया जाता है। उदाहरण के लिए, ऑटोमोबाइल और ईंधन फ्रेंचाइजी।
- व्यापार प्रारूप फ्रेंचाइजी: इस मॉडल में फ्रेंचाइज़ीधारी को फ्रेंचाइज़र की पूरी व्यापारिक प्रणाली का उपयोग करने का अधिकार होता है। उदाहरण के लिए, फास्ट फूड चेन और रिटेल स्टोर।
- जॉब फ्रेंचाइजी: इसमें फ्रेंचाइज़ीधारी को छोटे स्तर पर सेवाएं प्रदान करने का अधिकार दिया जाता है, जैसे कि सफाई सेवाएं या फूड डिलीवरी।
भारत में फ्रेंचाइजी
भारत में फ्रेंचाइजी मॉडल का प्रचलन तेजी से बढ़ रहा है। कई घरेलू और अंतरराष्ट्रीय कंपनियां, जैसे मैकडॉनल्ड्स, पिज़्ज़ा हट, डोमिनोज़, और कई बैंक, खुदरा व्यापार और सेवाएं प्रदान करने के लिए फ्रेंचाइजी मॉडल का उपयोग करती हैं। यह मॉडल भारतीय उद्यमियों के लिए विशेषकर लाभकारी है, जो एक स्थिर व्यवसायिक प्रणाली के साथ अपनी वित्तीय सुरक्षा को सुनिश्चित करना चाहते हैं।